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Tere Intzaar Mein....
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भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा, नया कोई अवतार -
11th September 2015, 01:48 PM
चारों तरफ खतरे में धर्म, खतरे में है संसार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा, नया कोई अवतार
है रात लम्बी, हर तरफ घनघोर अँधेरा है
दिखाई ना दे कोई उजियारा, दूर सवेरा है
आज बचालो, तुम ही मेरी लाज बचालो
तुम ही श्रृष्टि के चालक, तुम ही पालनहार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा, नया कोई अवतार
धरा पर पाप बढ़ा है, सर्प बना इंसा खड़ा है
न्याय की खातिर दर दर की ठोकरें मैं खाऊँ
तेरे दर के अलावा किस दर पर मैं जाऊँ
आस लगाए, हाथ फैलाए, मैं खड़ा तेरे द्वार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा नया कोई अवतार
लूट रही जो आबरू, कोई कृष्ण बन कर तो आए
ना जाने कहाँ है वो भाई, जो बहनों को बचाएं
राम बनके आओ,चाहे श्याम बनके आओ
आज संकट में पड़ी, मैं तुझको रही रे पुकार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा नया कोई अवतार
जी चाहता है सारी दुनिया को आग लगा दूँ
खुद के संग संग, सारी दुनिया को जला दूँ
मेरी विनती सुनो प्रभु तुम, अब तो सुनो
तुफानो में घिरी अब कश्ती लगाओ मेरी पार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा नया कोई अवतार
देखो अब तो खून के रिश्ते भी टूटने लगे हैं
आखिर भाई से भाई के हाथ छूटने लगे है
इस दौर में धन दौलत वाला बना भगवान् है
"राज" गरीब, रख चरणों के करीब, कर उद्धार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा नया कोई अवतार
चारों तरफ खतरे में धर्म, खतरे में है संसार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा, नया कोई अवतार
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11th September 2015, 01:57 PM
Quote:
Originally Posted by Rajeev Sharma
चारों तरफ खतरे में धर्म, खतरे में है संसार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा, नया कोई अवतार
है रात लम्बी, हर तरफ घनघोर अँधेरा है
दिखाई ना दे कोई उजियारा, दूर सवेरा है
आज बचालो, तुम ही मेरी लाज बचालो
तुम ही श्रृष्टि के चालक, तुम ही पालनहार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा, नया कोई अवतार
धरा पर पाप बढ़ा है, सर्प बना इंसा खड़ा है
न्याय की खातिर दर दर की ठोकरें मैं खाऊँ
तेरे दर के अलावा किस दर पर मैं जाऊँ
आस लगाए, हाथ फैलाए, मैं खड़ा तेरे द्वार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा नया कोई अवतार
लूट रही जो आबरू, कोई कृष्ण बन कर तो आए
ना जाने कहाँ है वो भाई, जो बहनों को बचाएं
राम बनके आओ,चाहे श्याम बनके आओ
आज संकट में पड़ी, मैं तुझको रही रे पुकार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा नया कोई अवतार
जी चाहता है सारी दुनिया को आग लगा दूँ
खुद के संग संग, सारी दुनिया को जला दूँ
मेरी विनती सुनो प्रभु तुम, अब तो सुनो
तुफानो में घिरी अब कश्ती लगाओ मेरी पार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा नया कोई अवतार
देखो अब तो खून के रिश्ते भी टूटने लगे हैं
आखिर भाई से भाई के हाथ छूटने लगे है
इस दौर में धन दौलत वाला बना भगवान् है
"राज" गरीब, रख चरणों के करीब, कर उद्धार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा नया कोई अवतार
चारों तरफ खतरे में धर्म, खतरे में है संसार
भगवन तुम्हे लेना पड़ेगा, नया कोई अवतार
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Rajeev ji........bahut hi behtareen likha hai aapne, bhagwaan se jo ardaas ki hai aapne, yeh ham sabki bhi ardaas hai...dil se daad hazir hai khoobsurat ehsaaso par.
~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~~
.....Sunita Thakur.....
यह कह कर मेरा दुश्मन मुझे हँसते हुए छोड़ गया
....के तेरे अपने ही बहुत हैं तुझे रुलाने के लिए...
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11th September 2015, 03:18 PM
rajeev ji....waah..har baar ek nayi soch ke sath aate hain aap....bahut achche khayaal..bahut achcha laga padhkar...kash ki bhagwaan tak ye pukaar pahunchey....
Bahut sari daad qubool kijiyega meri taraf se.....
Aate rahein...likhte rahein....
अर्ज मेरी एे खुदा क्या सुन सकेगा तू कभी
आसमां को बस इसी इक आस में तकते रहे
madhu..
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RADHE RADHE
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11th September 2015, 10:43 PM
Rajeev bhai kamaal ka likha hai aapne............................
Aapka Apna Ishk
'इश्क' के बदले इश्क चाहना तिजारत है
इज़हार किससे करें महबूब तो दिल में है
email: rkm179@gmail.com
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~$uper M0der@tor~
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13th September 2015, 10:04 AM
acche khayaal hain Raj saahab............. pahle bhi padh chuka hoon magar taazgee naee hai...
likhte rahiye.... aate rahiye
Shaad.....
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14th September 2015, 03:36 PM
Rajeev ji, bohot umdaah khayaal.
Aise he likhte raheiN.
Khair andesh
Sagar Aashna
****************
Qaul thae ke 'Sagar' milengae kal magar
Taareeki musalsal hai, savera nahii hota
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Tere Intzaar Mein....
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30th September 2015, 12:26 PM
Quote:
Originally Posted by sunita virender
Rajeev ji........bahut hi behtareen likha hai aapne, bhagwaan se jo ardaas ki hai aapne, yeh ham sabki bhi ardaas hai...dil se daad hazir hai khoobsurat ehsaaso par.
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Sunita ji bahut bahut shukriyaa aapkaa..................................
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