मेरा कोई नही है सब के सब मतलबी है -
7th September 2009, 10:32 PM
मेरा कोई नही है
सब के सब मतलबी है
अपना काम हो तो
चले आते है
और
काम न हो तो
पूछ्ते भी नही है
लोग आज के समाज के
क्या अपने और क्या बेगाने
सब बाते है कहने भर की
कोई किसी का नही होता
धोखा है समझ
जहां भरोसा होता है
वही दर्द अकेलेपन का सोता है
ओढकर आहे तेरी चाहत की
और ख्वाईश की कंपन मे
करवट बदले बगैर
वो मिट जाता है
तेरे प्यार के लिये
और
तेरे ज़मीर पर आहट
तक नही होती.
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"ये किस भंवर मे से"
बडा अफ़सोस होता है
जब कोई दर्द मे होता है
ये लमहा-लमहा
वो शख्स कतरा-कतरा
ही तो जीता है,
क्या करे ऐसे जीने का
एक-एक पल मे मरने का
ये किस भंवर मे से
आयी है ज़िन्दगी
जैसे कही खोई ज़िन्दगी,
गुमनाम सा है
चेहरा मेरा
सवाल आंखो
मे लिये एक दिन
एक नई बस्ती मे
आ गई ज़िन्दगी और देखा
वहां पर सब अपने जैसे है,
मगर फ़ितरत का
आईना टूटा हुआ निकला
उन शक्लो मे भी
कोई न अपना निकला.
Ajay Nidaan (09630819356)
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Kisi ek chehare ki talash me bhatakti rahee zindagi
par mila nahi zindagi ko apni pahchaan ka chehara.
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