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Originally Posted by rajinderseep
बादा तेरा बादा. . . लोटआयें हैं पक्षी घरों को , तुम्हें भी लोटआना होगा
किया जो बादा था तुमने हर हाल मे निभाना होगा ।
चांद सितारों की गुफतगु शुरु हो चुकी है
जुगनुओं की जुसतजु शुरू हो चुकी है
तुम्हें भी हाले दिल सुनाना होगा
तुम्हें लोटआना होगा ।
रोशनी हो चुकी हर घर मे
मैं बेठी अंधेरे मे घर मे
आ भी जाआो रोज की तरह
तुम्हें चिराग जलाना होगा
किया था बादा लोट अाने का
हर हाल मे निभाना होगा
रात के जाने से पहले
दिल टूट जाने से पहले
तुम्हें आना होगा.
रजिंदर सीप . . . . .
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wahhhhh bahutttttttttt hi umda..................